बुलंदशहर : प्रशासनिक कार्यों में रूचि न लेने वाले सरकारी कर्मचारियों पर अब अनिवार्य सेवानिवृत्ति की तलवार लटक गई है। मुख्य सचिव ने आदेश जारी कर ऐसे कर्मियों को सेवानिवृत्त करने के आदेश दिए हैं, जो अपने कार्यों के प्रति उदासीनता बरतते हैं। हालांकि इससे पहले विभागों से सचिव ने इसी माह में रिपोर्ट मांगी है, जिससे शासन को कर्मचारियों के बारे में बताया जा सके। शासन द्वारा प्रत्येक वर्ष जिला स्तर पर कर्मचारियों की स्क्रीनिंग कराई जाती है। इसमें विभाग ऐसे कर्मचारियों को शामिल किया जाता है, तो विभागीय कार्यों में रूचि नहीं लेते और 50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके हैं। शासन ने अब ऐसे कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति देने की योजना बनाई है। आदेश में कहा गया कि जिला स्तर पर एक स्क्रीनिंग कमेटी बनाई जाए और कर्मचारियों की सूची तैयार होगी। 31 मार्च 2022 को 50 साल की आयु पूरी कर चुके कर्मचारियों को शामिल किया जाएगा। सीडीओ ने बताया कि शासन के आदेश पर जिले में स्क्रीनिंग कमेटी बनाकर इसके दायरे में आने वाले कर्मचारियों की सूची शासन को भेज दी जाएगी वहीं से सेवानिवृत्ति की प्रक्रिया होगी।
सभी विभागों में होगी स्क्रीनिंग
जिले के सभी विभागों में तैनात कर्मचारियों की स्क्रीनिंग होगी। इसमें कर्मचारी देखे जाएंगे जो अपने कार्यों को ठीक प्रकार से नहीं कर रहे हैं और गबन व भ्रष्टाचार के मामलों में वह दोषी पाए गए हैं। हालांकि 50 वर्ष की सेवा वह पूरी कर चुके होंगे। इसमें पंचायत राज विभाग, बेसिक, माध्यमिक, विकास भवन के विभाग एवं कलक्ट्रेट के अलावा पुलिस व अन्य विभागों के कर्मचारी शामिल होंगे। आगामी दिनों में विभाग को स्क्रीनिंग कर अपनी रिपोर्ट शासन को देनी होगी।
शासन के आदेश पर जिले में स्क्रीनिंग कमेटी बनेगी। कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी जाएगी। विकास भवन के अलावा सभी विभागों के कर्मचारी इसमें शामिल होंगे। इसी माह में शासन को रिपोर्ट भेज दी जाएगी। अनिवार्य सेवानिवृत्ति शासन के आदेश पर दी जाएगी।
-अभिषेक पांडे्य, सीडीओ