कर्मचारी के एरिया का भुगतान न करना अपर शिक्षा निदेशक और जौनपुर के जिला विद्यालय निरीक्षक (डीआईओएस) को भारी पड़ा। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उनके खिलाफ आरोप तय करने का निर्णय लिया है। कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई की तिथि तय करते हुए उन्हें हलफनामा दाखिल करने को कहा है।
जौनपुर में तैनात कर्मचारी सेराज की याचिका पर सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति जयंत बनर्जी की एकल पीठ ने कहा कि दोनों अधिकारियों ने कोर्ट के आदेशों का पालन नहीं किया। कोर्ट ने अपने फरवरी 2019 में दिए आदेश में कर्मचारी को ब्याज के साथ एरियर भुगतान का आदेश दिया था। जबकि आदेश का अनुपालन करने के लिए एक महीने का समय दिया गया था।
याची के अधिवक्ता एसबी सिंह ने कहा कि याची को मजबूरन अवमानना याचिका दाखिल करनी पड़ी। अवमानना याचिका की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने अपर शिक्षा निदेशक डॉ. महेंद्र देव को समय दिया लेकिन उन्होंने इसका पालन नहीं किया। सुनवाई के दौरान कोर्ट में अपर शिक्षा निदेशक डॉ. महेंद्र देव और जौनपुर के डीआईओएस राजकुमार पंडित मौजूद रहे।
सरकारी अधिवक्ता की ओर से तर्क दिया गया कि सरकार के 25 नवंबर 2021 के आदेश के तहत विभाग में वित्तीय भुगतान के लिए एक कमेटी गठित है। याची सेराज के एरियर का भुगतान भी कमेटी के जरिए किया जाएगा लेकिन कोर्ट ने सरकारी अधिवक्ता के तर्कों को नहीं माना और इसे अपनी अवमानना मानते हुए अगली तिथि पर आरोप तय करने का निर्णय लिया है।